दोनों की 3 शर्तें
मेरी नज़र में इस्लाम दुन्या का दूसरा बड़ा मुजरिम है
जो अपनी बात न मानने वालों तीन शर्त देता है,
1- हमारे मज़हब को अपना लो,
2- या हमें जज़्या दो,
3- अथवा हम से लड़ो और हार कर हमारे ग़ुलाम बनो.
मेरी नज़र में मनुवादी हिंदुत्व दुन्या का पहला बड़ा मुजरिम है
जो सामने वाले को एक ही मंत्र देता है कि सारी उम्र मेरे सेवक बन कर जिओ.
1-क्षत्रीय बन हमारी सुरक्षा करो,
2-बनिया बन कर हमारा भरण पोषण करो,
3-और शूद्र बन कर सब की सेवा करो.
राहे-अमल
पाकिस्तान की वेबसाइट्स पर जिंसी बेराह रवी की सबसे ज़्यादः भरमार है. किसी भी मज़मून की साइट्स खोलें, धीरे धीरे जिन्स के दरवाजे खुल जाते हैं. जिन्स के ऐसे ऐसे उन्वान कि पढ़के सर शर्म से झुक जाता है.
ऐसा कल्चर इस मुल्क में फ़ैल रहा है जहाँ इंसानी रिश्ते तार तार हो रहे हैं.
ये ख़तरनाक वेब मुहिम माँ, बहेन और बेटियों की इज्ज़त,
उनके रखवाले ही लूटने लगेंगे,
तब कहाँ ले जायगा क़ौम को इसका अंजाम ?
इसका क़ुसूर वार इस्लाम हो सकता है,
जहां ज़ानियों को सज़ाए मौत दी जाती है.
शायद ये कल्चर इस बेराह रवी के सहारे,
फ़रसूदा निज़ाम का जवाब हो.
मेरी नज़र में इस्लाम दुन्या का दूसरा बड़ा मुजरिम है
जो अपनी बात न मानने वालों तीन शर्त देता है,
1- हमारे मज़हब को अपना लो,
2- या हमें जज़्या दो,
3- अथवा हम से लड़ो और हार कर हमारे ग़ुलाम बनो.
मेरी नज़र में मनुवादी हिंदुत्व दुन्या का पहला बड़ा मुजरिम है
जो सामने वाले को एक ही मंत्र देता है कि सारी उम्र मेरे सेवक बन कर जिओ.
1-क्षत्रीय बन हमारी सुरक्षा करो,
2-बनिया बन कर हमारा भरण पोषण करो,
3-और शूद्र बन कर सब की सेवा करो.
राहे-अमल
पाकिस्तान की वेबसाइट्स पर जिंसी बेराह रवी की सबसे ज़्यादः भरमार है. किसी भी मज़मून की साइट्स खोलें, धीरे धीरे जिन्स के दरवाजे खुल जाते हैं. जिन्स के ऐसे ऐसे उन्वान कि पढ़के सर शर्म से झुक जाता है.
ऐसा कल्चर इस मुल्क में फ़ैल रहा है जहाँ इंसानी रिश्ते तार तार हो रहे हैं.
ये ख़तरनाक वेब मुहिम माँ, बहेन और बेटियों की इज्ज़त,
उनके रखवाले ही लूटने लगेंगे,
तब कहाँ ले जायगा क़ौम को इसका अंजाम ?
इसका क़ुसूर वार इस्लाम हो सकता है,
जहां ज़ानियों को सज़ाए मौत दी जाती है.
शायद ये कल्चर इस बेराह रवी के सहारे,
फ़रसूदा निज़ाम का जवाब हो.
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जीम 'मोमिन' निसारुल-ईमान
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