हिदू आतंक वाद
राहुल गाँधी ने अगर ये कहा है कि हिदू आतंक वाद ज़्यादः ख़तरनाक है,
बनिस्बत मुस्लिम आतंक वाद के,
तो उनको संकुचित राज नीतिज्ञों से डरने की कोई ज़रुरत नहीं.
उन्हों ने एक दम नपा तुला हुवा सच बोला है.
उनके बाप को बम से चीथड़े करके शहीद करने वाले मुस्लिम आतंक वाद नहीं थे, बल्कि लिट्टे वाले थे, जो बहरहाल हिदू हैं.
उनकी दादी को गोलियों से भून कर शहीद करने वाले सिख थे,
जो बहरहाल हिन्दू होते हैं जैसा कि भग़ुवा ग़ुरूप मानता है.
महात्मा गाँधी, बाबा ए क़ौम को इन आतंक वादी शैतानो ने तीन
गोलियां से उनकी छाती छलनी करके आतंक का मज़ा लिया था.
मुस्लिम आतंक वाद को आगे करके ये अपना वजूद क़ायम किए हुए हैं
जो कि अपने आप में विशाल भारत के लिए चूहों के झुड से ज़्यादः कुछ भी नहीं हैं.
मुस्लिम आतंक वाद दुन्या के कोने कोने में कुत्तों की मौत मारे जा रहे हैं.
मुस्लिम आतंक वाद ख़ुद सब से बड़ा दुश्मन मुसलमानों का है
जो कि हिन्दू समझ नहीं पा रहे हैं,
जिनको मैं क़ुरआन की आयतों की धज्जियां उड़ा उड़ा कर समझा रहा हूँ.
राहुल गाँधी को थोड़ी और जिसारत करके मैदान में आना चाहिए
कि हिन्दू आतंक वाद 5000 साल, वैदिक काल से भारत के मूल्य
निवासियों पर ज़ुल्म ढा रहा है,
मुस्लिम आतंक वाद तो सिर्फ़ 14 सौ सालों से पूरी दुन्या को बद अम्न किए हुए है, और हिदू आतंक वाद आदि वासियों और मूल निवासियों को अपना
शिकार वैदिक काल से बनाए हुए है.
मुस्लिम आतंक वाद जितना ग़ैरों को तबाह करता है
उससे कहीं ज़्यादः ख़ुद तबाह होता चला आया है.
हिन्दू आतंक वाद जोंक का स्वाभाव रख़ता है,
अपने शिकार को कभी मरने नहीं देता,
उसे वह हमेशा ग़ुलाम बना कर रख़ता है.
हिन्दू आतंक वाद मुस्लिम आतंक वाद से कई ग़ुना घृणित है
जो कि भारत में फला फूला हुवा है.
राहुल गाँधी ने अगर ये कहा है कि हिदू आतंक वाद ज़्यादः ख़तरनाक है,
बनिस्बत मुस्लिम आतंक वाद के,
तो उनको संकुचित राज नीतिज्ञों से डरने की कोई ज़रुरत नहीं.
उन्हों ने एक दम नपा तुला हुवा सच बोला है.
उनके बाप को बम से चीथड़े करके शहीद करने वाले मुस्लिम आतंक वाद नहीं थे, बल्कि लिट्टे वाले थे, जो बहरहाल हिदू हैं.
उनकी दादी को गोलियों से भून कर शहीद करने वाले सिख थे,
जो बहरहाल हिन्दू होते हैं जैसा कि भग़ुवा ग़ुरूप मानता है.
महात्मा गाँधी, बाबा ए क़ौम को इन आतंक वादी शैतानो ने तीन
गोलियां से उनकी छाती छलनी करके आतंक का मज़ा लिया था.
मुस्लिम आतंक वाद को आगे करके ये अपना वजूद क़ायम किए हुए हैं
जो कि अपने आप में विशाल भारत के लिए चूहों के झुड से ज़्यादः कुछ भी नहीं हैं.
मुस्लिम आतंक वाद दुन्या के कोने कोने में कुत्तों की मौत मारे जा रहे हैं.
मुस्लिम आतंक वाद ख़ुद सब से बड़ा दुश्मन मुसलमानों का है
जो कि हिन्दू समझ नहीं पा रहे हैं,
जिनको मैं क़ुरआन की आयतों की धज्जियां उड़ा उड़ा कर समझा रहा हूँ.
राहुल गाँधी को थोड़ी और जिसारत करके मैदान में आना चाहिए
कि हिन्दू आतंक वाद 5000 साल, वैदिक काल से भारत के मूल्य
निवासियों पर ज़ुल्म ढा रहा है,
मुस्लिम आतंक वाद तो सिर्फ़ 14 सौ सालों से पूरी दुन्या को बद अम्न किए हुए है, और हिदू आतंक वाद आदि वासियों और मूल निवासियों को अपना
शिकार वैदिक काल से बनाए हुए है.
मुस्लिम आतंक वाद जितना ग़ैरों को तबाह करता है
उससे कहीं ज़्यादः ख़ुद तबाह होता चला आया है.
हिन्दू आतंक वाद जोंक का स्वाभाव रख़ता है,
अपने शिकार को कभी मरने नहीं देता,
उसे वह हमेशा ग़ुलाम बना कर रख़ता है.
हिन्दू आतंक वाद मुस्लिम आतंक वाद से कई ग़ुना घृणित है
जो कि भारत में फला फूला हुवा है.
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जीम 'मोमिन' निसारुल-ईमान
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